दिल्ली देहात से….

हरीश चौधरी के साथ….

नारी शक्ति का सम्मान भारतीय परंपरा और संस्कृति का हिस्सा है: ओम बिरला – नारी शक्ति का सम्मान भारतीय परंपरा और संस्कृति का हिस्सा : ओम बिरला -दिल्ली देहात से

लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने दिल्ली विश्वविद्यालय के दौलत राम कॉलेज की छात्राओं को संदेश भेजा।

नई दिल्ली :

भारत के स्वतंत्रता आंदोलन में महिलाओं की महत्वपूर्ण भूमिका रही है। वास्तव में रानी लक्ष्मीबाई ने ही आजादी के आंदोलन की नीव रखी थी। बड़ी संख्या में महिलाओं की भागीदारी के कारण ही हमारा स्वतंत्रता संग्राम सफल हो गया। लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने आज दिल्ली विश्वविद्यालय के दौलत राम कॉलेज की छात्राओं को संदेश देते हुए यह बात कही। ओम बिरला ने कहा कि नारी शक्ति का सम्मान भारतीय परंपरा और संस्कृति का हिस्सा है। महात्मा ज्योतिबा फुले, सावित्री बाई फुले, बाबा साहब अंबेडकर जैसे समाज सुधारकों को याद करते हुए उन्होंने कहा कि महिला सशक्तिकरण में उनकी भागीदारी को हमेशा याद रखा जाएगा।

यह भी पढ़ें

ओम बिरला ने देश के विकास में महिलाओं की बढ़ती भागीदारी का उल्लेख करते हुए कहा कि आज हर क्षेत्र में देश की महिलाएं अग्रणी भूमिका निभा रही हैं। लड़ाकू विमानों से लेकर सीमाओं पर युद्ध हो, चाहे अर्ध सैनिक बल हों, हर जगह श्रमिक अग्रिम पंक्ति में खड़े हैं। स्वयं हेल्प ग्रुप (SHG) के माध्यम से लाखों महिलाएँ अपने छोटे-छोटे उद्योग चलाने वाले समाज में बड़ा बदलाव ला रही हैं। संसद के सभापति ने कहा कि जब भी कोई भी भारतीय सेवा के अधिकारी संसद में पेश होते हैं, तो देखने में आता है कि पुरुषों की तुलना में महिलाओं की संख्या अधिक है।

ओम बिरला ने कहा कि उस समय के साथ महिलाओं की राजनीतिक भागीदारी भी मिलती है। जब हमारा देश आजाद हुआ था, तब देश के संविधान सभा में महिलाओं की संख्या 15 थी। वहीं आज 115 महिलाएं भारत की संसद में देश का प्रतिनिधित्व कर रही हैं। ग्रामीण क्षेत्रों से लेकर शहरी क्षेत्रों तक के सभी लोकतांत्रिक साझेदारों में आज 14 लाख से अधिक लोग नेतृत्व कर रहे हैं जो सामाजिक और आर्थिक बदलाव ला रहे हैं। बिरला ने कहा कि देश महिला केंद्रित विकास के विजन को लेकर आगे बढ़ रहा है। जीवन के हर क्षेत्र में आज महिलाएं जिन उपलब्धियों को अपना नाम दर्ज कर रही हैं, वह अमृत काल में देश के संकल्पों के साकार होने का विश्वास भरती है।

सभापति ने राष्ट्र निर्माण में युवाओं की भूमिका का उल्लेख करते हुए कहा कि युवा शक्ति अपने नवाचार, रचनात्मकता से प्रमुख वर्गों का सामना कर रही है। उन्होंने युवाओं से आग्रह किया कि उनका हर कदम यह सुनिश्चित करे कि समाज में महिलाएं सशक्त हों। बिरला ने उन्हें विशेष रूप से ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाली महिलाओं के जीवन को बेहतर बनाने पर ध्यान देने का आग्रह किया।